नई दिल्ली । एनसीएलएटी ने कनोरिया शुगर एंड जनरल मैन्युफैक्चरिंग कंपनी के खिलाफ कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) को वापस लेने की अनुमति दी है। राष्ट्रीय कंपनी कानून अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) की दो सदस्यीय पीठ ने कनोरिया शुगर के वित्तीय लेनदार पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) को अपनी दिवाला याचिका वापस लेने की अनुमति दी। पीएनबी और कनोरिया शुगर के बीच समझौता होने के बाद यह अनुमति दी गई। चेयरमैन न्यायमूर्ति अशोक भूषण और सदस्य नरेश सालेचा की पीठ ने कहा ‎कि हम लेनदार को धारा सात के तहत दायर आवेदन वापस लेने की अनुमति देते हैं। नतीजतन, 27 अप्रैल 2022 के आदेश के तहत शुरू की गई सीआईआरपी खत्म होती है।